संपादक की कलम से,,, अजीब दास्तां है ना जाने क्यों यमराज कहीं खो गए अकाल मृत्यु का तो जैसे टोंटा हो गया ऐसा क्यों हो रहा है कि यमराज भी छुट्टी पर चले गए ? लांक डाउन यमराज को भी लग गया तो दोस्तों सही तो यह है कि हमें तो अपनों ने लूटा गैरों में कहां दम था हमारी कश्ती थी वहां डूबी जहां पर पानी कम था ऐसा मैं इसलिए कह रहा हूं क्योंकि अभी कोरोनावायरस के लाक डाउन के दौर में बहुत सारी चीजें अपने आप में परिवर्तनशील हुई है जिसमें जहां हम देवी शक्ति की बात करें औ,,तंत्र मंत्र ज्योतिष जादू टोना यह सब न जाने कहां चले गए, आजकल टीवी,पर कोई नजर नहीं आ रहा,, कोई तांत्रिक ज्योतिषी भविष्यवाणी खत्म हो गई,, यह कोरोनावायरस सारी व्यवसायिक चीजों को अपने साथ ले गया ??? ,मुझे ऐसा लगता है अब हमें जागने की आवश्यकता है अभी भी हम अगर इससे नहीं जागे तो फिर कभी नहीं जा पाएंगे क्योंकि आज उनके 1 महीने के अंदर जो स्थितियां निर्मित हुई है उसमें यह चीजें सामने आ रही है कि हॉस्पिटल में मरीज की संख्या कम हो गई बड़ी बड़ी बीमारियां खत्म हो गई बीमारियां कहां गई किसने ले गई अब यह समझने की आवश्यकता है क्या हमें कोई और चला रहा था पहले और चला रहा था तो कौन चला रहा था हमारे हमें हमारे अपने लोग ही चला रहे थे जो हमें कहीं ना कहीं गुमराह करते रहे जो अपनी अपनी विधाओं में पारंगत थे जो ठगी करने में महारत रखते थे उन्होंने ही इस संसार को सबसे ज्यादा गड्ढे में डाला लेकिन इसके संकट में सबको सिखा दिया कि क्या है सच्चाई जागो और उस को समझो अभी नहीं जागे कभी नहीं जान पाओगे मेडिकल के बड़े-बड़े जांच के आधार पर हम लोग विश्वास और भरोसे के साथ में अपना उपचार करवाते रहें और उपचार में जहर खाते रहे दवाइयों के रूप में क्योंकि हम विश्वास पर चल रहे हैं आज वही विश्वास हमें देखने को मिल रहा है इस कोरोनावायरस के लाक डाउन के दौरान जिसमें मुझे नहीं लगता कि संसार में महामारी के इस दौर में एक ही बीमारी रह गई है कोरोनावायरस बाकी बीमारियां कहां गई हार्ट अटैक, ब्लड,प्रेशर, शुगर और अन्य कितनी बीमारियां हैं जो आज हॉस्पिटलों की ओर जाते हुए नजर नहीं आते मरीज तो ऐसा क्या हुआ कि लोग स्वस्थ महसूस कर रहे हैं और मुझे यह लगता है कि अब हमें अपने प्रति अपने आसपास के प्रति जागरूक होना पड़ेगा भविष्यवाणी या खत्म हो गई है ज्योतिषाचार्य खत्म हो गया यह सब क्या था शनि ग्रह क्या है,, क्या शनि भगवान भी लांक डाउन में चले गए,, नहीं हमें बहुत सारे लोग भ्रमित करने वाले रहे हैं ,,उन से बचें और अपने आप को पहचाने ध्यान,ध्यान, क्रिया में जाएं और अपने आप को पहचाने कि हम क्या है हमें कौन चला रहा था आज तक इसलिए हर चीज को सोचने समझने का बहुत सुनहरा अवसर ईश्वर ने प्रदान किया है प्रकृति को देखें प्रकृति की मदद कर प्रकृति को सुरक्षित रखें पशु पक्षियों की मदद करें जीव-जंतुओं की मदद करें और अपने आसपास के लोगों की मदद करें से ही सबसे बड़ा धर्म और कर्म होगा और यहीं से हमें शक्ति और बल मिलेगा हम उसी के आधार पर संसार को अच्छे से चला पाएंगे आप सभी से पुनः आग्रह है कि इस घड़ी में बहुत कुछ सीखने को दिया है आपको घर में परिवार में बाल बच्चे अपने माता-पिता भाई-बहन बंधु बांधव दोस्त रिश्ते नातेदार सभी को आप बहुत अच्छे से समझने का अवसर प्राप्त हुआ है इस संसार को जानने का मौका मिला है तो आप बहुत कुछ सीख सकते हैं कि हमारे साथ में क्या सही है क्या गलत है तो दोस्तों जय हिंद जय भारत मैं आपका अपना नरेश मांडेकर पत्रकार बैतूल मध्य प्रदेश
संपादक की कलम से,,, अजीब दास्तां है ना जाने क्यों यमराज कहीं खो गए अकाल मृत्यु का तो जैसे टोंटा हो गया विश्व में बगैर लाक डाउन के लाखों मौतें होती है लेकिन कोरोना वायरस के चलते यह आंकड़ा हजारों में रह गया।